नामनेर के दो युवक फंस गए लुटेरी दुल्हनों के जाल में, एक भागी, दूसरी को पकड़ा गया, मध्यस्थ महिला से भी पूछताछ

आगरा, 19 अक्टूबर। थाना रकाबगंज क्षेत्र के अंतर्गत नामनेर निवासी दो पड़ोसी युवकाें की दुल्हनें लुटेरी निकलीं। एक दुल्हन शादी के चौथे दिन ही जेवर, नकदी लेकर भाग निकली। दूसरी भागने का प्रयास करते समय पकड़ी गई। दोनों युवकों की शादी ग्वालियर निवासी रिया की मध्यस्थता से हुई थी। असलियत सामने आने पर दोनों युवकों के परिजनों ने रिया को भी बुला लिया। रिया ने समझौता कराने का प्रयास किया लेकिन सफलता न मिलने पर मामला पुलिस के पास पहुंच गया।
खबरों के अनुसार, नामनेर क्षेत्र के रहने वाले दो पड़ोसियों अमन और रानू की उम्र 35 वर्ष से अधिक होने के बाद भी शादी नहीं हुई थी। रानू के बहनोई का ग्वालियर की महिला रिया से परिचय हुआ। उसने शादी कराने के लिए दो युवतियां होने की बात कही। गरीबी का हवाला देकर दोनों के परिवारों के लिए डेढ़-डेढ़ लाख रुपये देने की बात तय हुई। रिया दोनों युवतियों को लेकर आगरा आ गई। नामनेर के दुर्गा मंदिर में 14 अक्टूबर को रानू का और 15 अक्टूबर को अमन का विवाह हुआ। रिया ने दोनों के नाम फर्जी बताए थे और दोनों युवतियों के आपस में बहन होने की बात कही थी। एक व्यक्ति ने भाई बनकर कन्यादान किया। दूसरी की ओर से कथित मौसा ने रस्में निभाईं। 
बताया गया है कि शुक्रवार रात दो बजे के करीब रानू की पत्नी सोने की चेन, अंगूठी और नकदी लेकर फरार हो गई। वहीं अमन की पत्नी भागने का प्रयास कर रही थी, तभी परिवार के लोग जाग गए और उसे पकड़ लिया। पूछताछ में पता चला कि रानू की पत्नी का नाम अंजलि उर्फ पूजा यादव निवासी झारखंड और अमन की पत्नी का नाम हरियाणा की अंतिमा है। दोनों वर्तमान में ग्वालियर में रहती थीं और आपस में सहेली हैं। दोनों के मोबाइल फोन पर संपर्क में होने की जानकारी मिली। अंजलि उर्फ पूजा ने अंतिमा को संदेश भेज कर ग्वालियर में मिलने और वहीं पेमेंट होने की बात लिखी थी।
पकड़ी गई दुल्हन अंतिमा ने दबाव बनाने पर मध्यस्थ बनी रिया को कॉल की। रिया दोपहर में ग्वालियर से आ गई। दोनों दूल्हों के परिवारों ने उससे दी गई रकम, दुल्हन द्वारा ले जाए गए गहने और नकदी के साथ शादी में किए गए खर्च की रकम लौटाने को कहा। बातचीत में मामला न बनने पर पीड़ितों ने पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने दोनों पक्षों से पूछताछ शुरू कर दी। 
पकड़ी गई लुटेरी दुल्हन अंतिमा के साथ साजिश में उसका पति भी शामिल था। उसने खुद अंतिमा का भाई बनकर कन्यादान किया था। पकड़े जाने पर अंतिमा ने उसके पति होने की जानकारी दी। अंजलि उर्फ पूजा की विवाह की रस्में झारखंड के एक व्यक्ति ने मौसा बनकर निभाई थीं। दुल्हनों के लुटेरी निकलने का मामला पूरे क्षेत्र में चर्चा का विषय बना हुआ है।
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